आज हम बात करते हैं मीराबाई चानू के बारे में। टोक्यो ओलम्पिक्स में रजत पदक जीतने वाली मीराबाई चानू के जीवन में काफ़ी उतार चढ़ाव रहे हैं। भारोत्तोलन स्पर्धा में भारत का अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर प्रतिनिधित्व करने वाली मीराबाई उन खिलाड़ियों में से हैं जिनके जीवन से काफ़ी कुछ सीखा जा सकता है। तो आइये जानते हैं कुछ महत्वपूर्ण बातें मीराबाई चानू के बारे में, उनके बचपन और खेल से जुड़ी:
जन्म और परिवार
मीराबाई चानू का जन्म अगस्त 8,1994 को भारत के मणिपुर राज्य की राजधानी इम्फाल में हुआ था। उनका पूरा नाम साईखोम मीराबाई चानू है। मीराबाई चानू के पिता साईखोम कृति मीतेई पीडब्ल्यूडी में काम करते हैं जबकि उनकी मां साईखोम ओंगबी तोम्बी लीमा एक दुकान चलाती हैं। चानू अपने माता-पिता की छठी संतान है। ये थी मीराबाई चानू के बारे में उनके परिवार से जुड़ी कुछ जानकारियां।
मीराबाई चानू के बारे में (करियर)
मीराबाई चानू ने 2006 में महज 12 साल की उम्र में भारोत्तोलन को अपना खेल चुना और उन्होंने नामिरकपम कुंजरानी देवी से प्रेरित होकर इस खेल को अपना करियर बनाया। कुंजरानी देवी जिन्होंने भारत के लिए कई विश्व चैम्पियनशिप और एशियाई खेलों में पदक जीते हैं। चानू का पहला बड़ा टूर्नामेंट 8 साल बाद आया और मीराबाई ने 2014 के ग्लासगो कॉमनवेल्थ गेम्स में 48 किलोग्राम भार वर्ग में रजत पदक जीत कर खुद को भारोत्तोलन खेल में बेहद अच्छी शुरुआत दी। उनके इस सफल प्रदर्शन ने उनको दो साल बाद रियो में अपनी पहली ओलंपिक यात्रा की ओर रुख़सर किया।
मीराबाई चानू रियो ओलंपिक से कोई पदक नहीं ला सकीं, लेकिन उनमें पैदा हुआ सितारा अब मिटने वाला नहीं था। और उन्होंने 2017 में एनाहिम, अमेरिका में विश्व भारोत्तोलन चैंपियनशिप का स्वर्ण पदक 48 किलोग्राम भार वर्ग में जीत कर देश को गौरवान्वित किया। फिर इसके बाद एक साल बाद गोल्ड कोस्ट, ऑस्ट्रेलिया में 2018 राष्ट्रमंडल खेलों का स्वर्ण पदक जीता मीराबाई चानू ने।
दो साल बाद, मीराबाई चानू ने उज्बेकिस्तान के ताशकंद में एशियाई भारोत्तोलन चैंपियनशिप 2020 में कांस्य पदक जीतकर अपने जीत के सिलसिले को ज़ारी रखा। 2021 में, उन्होंने अपना नाम भारतीय दिग्गज ओलंपियनों में शामिल कराया महिलाओं की 49 किलोग्राम भर वर्ग भारोत्तोलन में रजत पदक जीत कर। उनके कोच विजय शर्मा हैं जबकि उनका प्रबंधन आईओएस स्पोर्ट्स द्वारा किया जाता है। यह थी मीराबाई चानू के बारे में उनके खेल करियर से जुड़ी कुछ ख़ास जानकारियाँ।
ख़ास बातें मीराबाई चानू के बारे में:
भारत के ओलंपिक में पदक जीतने की संभावनाओं में शामिल रही मीराबाई के बारे कुछ ऐसे भी तथ्य हैं जो उनको बनाते हैं ख़ास:
1. 2016 में मीराबाई चानू ने ओलंपिक खेलों की यात्रा शुरू की ।
2. 2017 में उन्होंने विश्व भारोत्तोलन चैंपियनशिप का स्वर्ण पदक जीता।
3. 2018 में, मीराबाई चानू को उनकी खेल उत्कृष्टता के लिए, भारत का चौथा सर्वोच्च नागरिक पुरस्कार, पद्मश्री मिला।
4. 2018 में, मीराबाई चानू को भारत का सर्वोच्च खेल पुरस्कार, राजीव गांधी खेल रत्न मिला।
5. 2020 में एशियाई भारोत्तोलन चैंपियनशिप में उन्होंने क्लीन एंड जर्क में 119 किलो भार उठाया, जो कि विश्व रिकॉर्ड के रूप में दर्ज हुआ।
6. 2021 में, उन्होंने अपनी दूसरी ओलंपिक खेलों की यात्रा शुरू की।
7. 2021 में, वह रजत पदक जीतने वाली पहली भारतीय भारोत्तोलक और पहली भारतीय महिला भारोत्तोलक बनीं।
8. वो भारत के लिए ओलिंपिक खेलों में पदक जीतने वाली 18वीं एकल ओलिंपियन और आज़ादी के बाद ऐसा करने वाली 16वीं भारतीय एकल ओलिंपियन बनीं। अगर टीम खेलों को जोड़ें तो वो ऐसा करने वाली 29वीं भारतीय ओलिंपियन और आज़ादी के बाद ऐसा करने वाली 24वीं भारतीय ओलिंपियन बनीं।
साइखोम मीराबाई चानू के बारे में ये कुछ बातें थीं जो शायद आपको जानना चाहिए। आज के लिए बस इतना ही दोस्तों। हम भारतीय खेलों में अविश्वसनीय सफलता की एक और कहानी के साथ वापस आएंगे। तब तक बने रहें। आशा है कि आप हमारे द्वारा आपके लिए बनाई गई सामग्री को पसंद कर रहे हैं। अगर आपको लगता है कि आप अपने विचार साझा करके और प्रश्न पूछकर योगदान दे सकते हैं, तो बेझिझक इन्हें पोस्ट के नीचे कमेंट बॉक्स में डाल सकते हैं। सुरक्षित और स्वस्थ रहें।
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